31 जुलाई 2021 शनिवार (क्रिप्टो न्यूज़ हिंदी)
ट्रेड वॉल्यूम के हिसाब से दुनिया की सबसे बड़ी क्रिप्टो एक्सचेंज बाइनेंस में सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है।बाइनेंस ने कल एक आर्टिकल के माध्यम से यह सूचना दी कि, वह तत्काल प्रभाव से जर्मनी,इटली और नीदरलैंड्स में फ्यूचर और डेरिवेटिव सेवाएं बंद कर रहा है।एक्सचेंज ने आगे लिखा है की इसके बाद इन देशों का कोई भी व्यक्ति इन सुविधाओं के लिए नया एकाउंट नहीं बना सकता है और न ही कोई नई ट्रेड खोल सकता है।जिन लोगों ने पहले से ही ट्रेड लगाई हुई है,उनके पास 90 दिन का समय है अपनी ट्रेड को बंद करने का।अचानक इन सुविधाओं को क्यों बंद किया गया इस बारे में एक्सचेंज ने कोई जवाब नहीं दिया है?

इस खबर को ट्विटर पर पोस्ट करने के बाद से एक्सचेंज ने पिछले 24 घंटे में करीब तीन ट्वीट किए हैं लेवरेज ट्रेड के विषय में व इस से जुड़े जोखिम को समझने के बारे में।क्या कुछ ऐसा हुआ है जो एक्सचेंज बता नहीं रही हैं?क्योंकि अचानक कुछ देशों में इन सुविधाओं को बंद करना वह भी बिना किसी कारण को बताए कुछ संदेह पैदा करता है।बाइनेंस एक्सचेंज ने पिछले दिनों कुछ ऐसा किया है जिसके कारण यह मुसीबत में पड़ सकती है या यह कहें की मुसीबत में पड़ चुकी है।

सोमवार 26 जुलाई 2021 भारतीय समय के अनुसार सुबह 6 बज कर 30 मिनट पर बिटकॉइन की कीमत में अचानक एक उछाल आया।मात्र 15 मिनट में ही फ्यूचर ट्रेड में बिटकॉइन की कीमत 36658 डॉलर से ऊपर उठ कर 48168 डॉलर पर पहुंच गई और अगले ही कुछ मिनट में यह कीमत गिर कर 37998 डॉलर पर पहुंच गई।कीमत में यह उछाल बहुत ही असामान्य था और इस कारण शार्ट कॉल पूरी तरह से लिक्विडेट हो गई।कीमत में यह उछाल स्पॉट ट्रेडिंग में नहीं आया बल्कि स्पॉट और लेवरेज में 10000 डॉलर का फर्क था।कीमत से छेड़छाड़ बाइनेन्स एक्सचेंज ने की ?क्योंकि कीमत में उछाल आने वाला है और उसी समय लेवरेज में 10000 डॉलर का फर्क आना सामान्य नहीं है।अगर अब यह कहा जाए की किसी एक कॉल के कारण ऐसा हो गया तो यह संभव नहीं है कि ऊपर कि कॉल पूरी हो गई हो और नीचे कि न हुई हो,जबकि इसके कारण सारी शार्ट कॉल लिक्विडेट हो गई।यह एक कारण है कि बाइनेन्स कि यह गड़बड़ी सबकी नज़र में आ गई और अब इसी का असर एक्सचेंज पर पड़ रहा है और इसे छुपाने के लिए एक्सचेंज जानकारी देने का नाटक कर रही है।

कुछ भारतीय मीडिया प्लेटफार्म ने यह खबर प्रकाशित कि है की भारतीय प्रवर्तन निदेशालय ने बाइनेन्सी को कारण बताओ नोटिस जारी किया है।एक्सचेंज की मीडिया एजेंसी ने इस बात का खंडन किया है और कहा है कि जून और जुलाई में उन्हें कोई नोटिस नहीं आया ,यह नोटिस वज़ीरएक्स को आया है बाइनेन्स को नहीं।इसका मतलब यह है कि जून से पहले एक्सचेंज को प्रवर्तन निदेशालय ने कोई नोटिस जारी किया है?प्रवर्तन निदेशालय भारत सरकार के वित्त मंत्रालय के राजस्व विभाग के अधीन एक विशेष वित्तीय जांच एजेन्सी है जो पैसे के लेनदेन और मनी लॉन्ड्रिंग से सम्बंधित मामलो कि जाँच करती है।प्रवर्तन निदेशालय ने हाल ही में वज़ीरएक्स को कुछ नोटिस भेजे थे जहां पर एक्सचेंज से गलत तरीके से पैसा डाल कर क्रिप्टो खरीदने और फिर इसे बाइनेंस एक्सचेंज पर भेजने का मामला सामने आया था।यह संभव है कि इस मामले में बाइनेंस के अधिकारियों से पूछताछ के लिए नोटिस जारी किया गया हो।

इसी हफ्ते मलेशिया और यूरोप में बाइनेंस की सेवा को रोका गया है और इसका कारण है एक्सचेंज का अपनी सेवाएं देने के लिए सही तरीके से इन देशों के कानून के अनुसार पंजीकृत न होना।यह जरुरी नहीं है कि बाइनेंस हर जगह गलत ही हो,यह भी हो सकता है है कि एक सोची समझी रणनीति के कारण एक्सचेंज को टारगेट बनाया जा रहा हो लेकिन इन सब के बीच जो सबसे बड़ा नुक्सान है वह है निवेशक का।एक्सचेंज के सीईओ CZ पर भी इन सभी बातों का बहुत ज्यादा दबाव होगा और इस सबका सामना वह कैसे करते हैं यह समय रहते ही पता चलेगा।

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